Monday, June 9, 2025
No menu items!
Homeबिहारठाढ़ी निवासी लेखिका सुनीता झा की नवीन पुस्तक बाल रामायण बच्चों के...

ठाढ़ी निवासी लेखिका सुनीता झा की नवीन पुस्तक बाल रामायण बच्चों के लिए है उपयोगी, हो रही प्रशंसा  

अड़रियासंग्राम (मधुबनी) से गौतम झा की रिपोर्ट 

लेखिका सुनीता झा द्वारा मैथिली भाषा में सत्तर पृष्ठों वाली लिखित नवीन पुस्तक “बाल रामायण” बच्चों के लिए काफी उपयोगी साबित हो रही है । इस पुस्तक में मैथिली भाषा में वाल्मीकि रामायण को कहानी के रूप में लिखा गया है । मधुबनी जिले के झंझारपुर अनुमंडल अंतर्गत अंधराठाढ़ी अंचल के ठाढ़ी गांव की मूल निवासी लेखिका सुनीता झा की इसके पूर्व बाल वर्ग के लिए एक सौ पृष्ठों वाली कहानी ज्ञानवर्धक कथा संग्रह “खिस्सा कहय खिसनी” मैथिली निबंध आईना (150 पृष्ठ), आत्मकथा जिनगीक पेटारी (128 पृष्ठ) मैथिली भाषा में प्रकाशित हो चुकी है । लेखिका सुनीता झा ने बताया कि मिथिला के इतिहास में महिलाओं के द्वारा रचित यह तीसरी पुस्तक है

। इसके पूर्व लिली रे तथा डॉ. शेफालिका बर्मा द्वारा किस्त किस्त जीवन नामक पुस्तक प्रकाशित हुई है । डॉ. शेफालिका बर्मा को इस पुस्तक के लिए साहित्य अकादमी पुरस्कार भी प्राप्त हुआ है । यह पुस्तक काफी प्रेरणादायक है । यह एक संघर्ष कथा है । सुनीता झा के मुताबिक सन 1985 में जब उनके पति की असामयिक मृत्यु हुई थी तो वह सिर्फ मैट्रिक पास थी । उनके तीन छोटे छोटे बच्चे थे । बताती है कि तीनो बच्चे की पढ़ाई के साथ-साथ उन्होने खुद भी एम. ए. तक की पढाई पूरी की । 1985 में अनुकंपा के आधार पर उनकी बहाली मारवाड़ी कालेज दरभंगा में लाइब्रेरी में हुई थी । 2019 ई. के अक्तूबर माह में हेड लाइब्रेरियन के पद से अवकाश ग्रहण करने वाली सुनीता झा की अब तक कुल ग्यारह पुस्तक प्रकाशित हो चुकी है । उनकी दस पुस्तक मैथिली भाषा में जबकि 164 पृष्ठों वाली एक पुस्तक “भारत के निर्माण में मिथिला की भूमिका” 2020 में प्रकाशित है । 2007 में भावना नामक पहली पुस्तक प्रकाशित हुई थी । इसके अतिरिक्त सुनीता झा 2007 से लगातार साहित्य अकादमी दिल्ली से आयोजित, आलेख, कविता आदि में भाग लेती रहती है । चालीस आलेख अभी भी रखी हुई है, जो पत्रिकाओं में छपी है । दरभंगा आकाशवाणी से अनेको वार्ता प्रसारित हो चुकी है । अनेकों कार्यक्रम में सुनीता झा को सम्मानित भी किया गया है । 2024 मे कथा संग्रह जीवनक रंग पोथी पर डॉ. अणिमां सिंह पुरस्कार किरण ट्रस्ट दिल्ली के द्वारा मिली थी ।

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

अभी अभी

लोकप्रिय खबर